Main Agar Kahoon Lyrics in Hindi
तुमको पाया है तो जैसे खोया हूँ
कहना चाहूँ भी तो तुमसे क्या कहूँ
तुमको पाया है तो जैसे खोया हूँ
कहना चाहूँ भी तो तुमसे क्या कहूँ
किसी ज़बाँ में भी वो लफ़्ज़ ही नहीं
के जिनमें तुम हो क्या तुम्हें बता सकूँ
मैं अगर कहूँ, तुम सा हसीं
क़ायनात में, नहीं है कहीं
तारीफ़ ये भी तो, सच है कुछ भी नहीं
तुमको पाया है तो जैसे खोया हूँ
शोखियों में डूबी ये अदायें
चेहरे से झलकी हुई हैं
जुल्फ़ की घनी-घनी घटायें
शान से ढलकी हुई हैं
लहराता आँचल, है जैसे बादल
बाहों में भरी है जैसे चाँदनी
रूप की चाँदनी
मैं अगर कहूँ, ये दिलकशी
है नहीं कहीं, ना होगी कभी
तारीफ़ ये भी तो, सच है कुछ भी नहीं
तुमको पाया है तो जैसे खोया हूँ
तुम हुए मेहरबाँ, तो है ये दास्ताँ
हो तुम हुए मेहरबाँ, तो है ये दास्ताँ
अब तुम्हारा मेरा एक है कारवाँ
तुम जहाँ में वहाँ
मैं अगर कहूँ, हमसफ़र मेरी
अप्सरा हो तुम, या कोई परी
तारीफ़ ये भी तो, सच है कुछ भी नहीं
तुमको पाया है तो जैसे खोया हूँ
कहना चाहूँ भी तो तुमसे क्या कहूँ
किसी ज़बाँ में भी वो लफ़्ज़ ही नहीं
के जिनमें तुम हो क्या तुम्हें बता सकूँ
मैं अगर कहूँ, तुम सा हसीं
क़ायनात में, नहीं है कहीं
तारीफ़ ये भी तो, सच है कुछ भी नहीं
तुमको पाया है तो जैसे खोया हूँ